पूर्णिया : पढ़ें डॉक्टरों की दबंगई, जिन्होंने राजकीय मेडिकल कॉलेज को राजनीति का अखाड़ा बना दिया

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पूर्णिया/राजेश झा : बिहार के टॉप 10 मेडिकल कॉलेज में शुमार पूर्णिया का राजकीय मेडिकल कॉलेज अस्पताल इन दिनों राजनीति का अखाड़ा बनता जा रहा है। आये दिन मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों और कॉलेज प्रशासन के बीच झगड़ा कोई नई बात नहीं है, लेकिन हद तो तब हो गई जब एक मामले में जांच के लिये आये तमिलनाडु पुलिस अधिकारियों के सामने मेडिकल कॉलेज की महिला डॉक्टरों ने मेडिकल सुपरिंटेंडेंट के साथ बहसबाजी और झगड़ा को सरेआम कर दिया।

बताते चलें कि पूर्णिया के मेडिकल कॉलेज स्थित अधीक्षक कार्यालय में एक महिला डाक्टर ने बुधवार को स्पष्टीकरण पूछे जाने पर जमकर बवाल मचाया, मामला इतना बिगड़ गया कि अस्पताल प्रशासन को सुरक्षा के लिए पुलिस को बुलाना पड़ा। सूचना मिलते ही सदर SDM राकेश रमन भी पहुंच गए। अधीक्षक व महिला डाक्टर को समझा बुझाकर मामले को शांत किया गया। अधीक्षक कार्यालय में लोगों की भीड़ लग गई।

जानिए क्या है पूरा मामला

दरअसल मामला यह है कि तमिलनाडु में एक लड़की के साथ कुछ दबंग लोगों ने दुष्कर्म किया था, मामला काफी हाई प्रोफाइल होने से तमिलनाडु के एसपी ने सुरक्षा के दृष्टिकोण से पीडिता लड़की को ,एमएलसी जांच यानी मेडिकल के लिए भारी सुरक्षा के बीच पूर्णिया मेडिकल कॉलेज भेज दिया गया।

पूर्णिया एसपी दया शंकर ने भी अस्पताल अधीक्षक विजय कुमार से मेडिकल जांच के लिए आग्रह किया था अधीक्षक ने मामले को गंभीरता से देखते हुए तीन सदस्यीय महिला डाक्टर की टीम गठित कर तीनों महिला डाक्टर को MLC जांच के लिए पत्र थमा दिया.इतने में ही दो महिला डाक्टर भड़क गई और रेप पीड़िता की जांच करने से इंकार कर दिया। इसी पर अधीक्षक विजय कुमार ने दोनों महिला डाक्टर से जांच नहीं करने का कारण जानने के लिए स्पष्टीकरण पत्र दिया.वैसे अधीक्षक ने अन्य तीन महिला डाक्टरों का टीम गठित कर पीड़िता को मेडिकल जांच करा दिया गया।

अधीक्षक द्वारा स्पष्टीकरण मांगते ही दोनों महिला डाक्टर भड़क गई और अधीक्षक कार्यालय पहुंच कर अधीक्षक के साथ नोकझोंक करने लगे.जब विजय कुमार ने शांतिपूर्ण बातचीत करने के लिए कहा तो दोनों डाक्टर और ज्यादा आगबबूला हो गई.अधीक्षक और महिला डाक्टर के बीच हो रही नोकझोंक को डॉ0 अपर्णा डे ने अपने मोबाइल से अधीक्षक के बातों को रिकॉर्ड करने लग, अधीक्षक ने रिकार्ड करने से मना किया और मोबाइल छीन लिया। इसी पर डॉ अपर्णा डे और भी आक्रोशित हो गई और अधीक्षक पर जबरन मोबाइल छीनने का आरोप लगाने लगे। जब इस संबंध में बात जानने के लिए डॉ अपर्णा डे के मोबाइल पर फोन किया गया तो संपर्क नहीं हो पाया।

अस्पताल अधीक्षक ने बताया कि डॉ. अपर्णा डे व शिव प्रिया ने अपने कर्तव्य का पालन करने से इंकार कर दिया है, मैंने कानूनी रूप से स्पष्टीकरण मांगा था.वह लोग जबरन उनके चेंबर में घुस कर अपशब्द का प्रयोग किया और उल्टे वीडियो बनाने लगे, जब वीडियो बनाने से मना किया तो उन पर तरह तरह के झूठे आरोप लगाने लगे। इस मामले को गंभीरता से लिया गया है और दोनों डाक्टर पर विधिसम्मत कानूनी कार्रवाई की जाएगा।

सदर एसडीएम राकेश रमन ने बताया कि अधीक्षक ने कर्तव्य पालन नहीं करने पर दो महिला डाक्टर से स्पष्टीकरण पूछा गया था.महिला डाक्टर ने अधीक्षक के चेंबर में जबरन घुस कर वीडियो बनाने पर विवाद हुई है। अधीक्षक व डाक्टर को कानूनी प्रकिया से जाने के लिए कहा गया है। वहीं डॉ अपर्णा डे ने महिला थाने में आवेदन देकर अधीक्षक के उपर कानूनी कार्रवाई की मांग की है।