पटना/स्टेट डेस्क। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सुपौल जिले के वीरपुर में बिहार कोसी बेसिन विकास परियोजना के अंतर्गत निर्माणाधीन भौतिक प्रतिमान केंद्र का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान मुख्यमंत्री को जल संसाधन विभाग के मुख्य अभियंता ने निर्माणाधीन कैंपस प्लान की जानकारी दी।
नदियों के हाइड्रोलिक गुणों के अध्ययन के लिए यह पुणे के सेंटर वाटर एंड पावर रिसर्च स्टेशन के बाद भारत का दूसरा संस्थान होगा। जल विज्ञान एवं अनुसंधान के क्षेत्र में इस तरह का उन्नत संस्थान दुनिया के गिने-चुने देशों में है। 108.93 करोड़ रुपये की लागत से इस भौतिक प्रतिमान केंद्र का निर्माण कार्य कराया जा रहा है। शुरू में यहां कोसी नदी से संबंधित अध्ययन किया जाएगा लेकिन बाद में बिहार एवं पड़ोसी राज्यों की अन्य नदियों से जुड़े डाटा इकट्ठा कर उनके जल संचयन और प्रवाह क्षमता आदि की जानकारी जुटाई जाएगी।
निरीक्षण के दौरान मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश देते हुये कहा कि भौतिक प्रतिमान केंद्र का निर्माण कार्य जल्द पूर्ण करें। यह जब बनकर तैयार होगा तो अपने आप में विशिष्ट होगा। भौतिक प्रतिमान केंद्र के शुरू होने से बाढ़ प्रबंधन और सिंचाई की योजनाओं के लिए नदियों से जुड़े जरूरी अध्ययन को कम समय में पूरा किया जा सकेगा।
अब इसके लिए पुणे जाने की जरूरत नहीं होगी, जिससे होने वाले खर्च में बचत होगी। इसके पश्चात् मुख्यमंत्री ने पूर्वी कोसी तटबंध के पुनर्स्थापन एवं सुदृढ़ीकरण कार्य का निरीक्षण किया। इस दौरान मुख्यमंत्री को बताया गया कि स्पर का सुरक्षात्मक एवं पुनर्स्थापन कार्य पीवीसी कोटेड गैबियन बॉक्स में बोल्डर डालकर किया जा रहा है ताकि तटबंध ठीक ढंग से सुरक्षित रह सके।
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