Kanpur : खेल विभाग और यूपीसीए के खिलाफ आरटीआई से मिले साक्ष्य पेश किए गए सबूत के तौर पर

उत्तर प्रदेश कानपुर

Kanpur, Bhupendra Singh । ग्रीनपार्क लीज पर होने के बाद से चल रहा भ्रष्टाचार का खुलासा आरटीआई के माध्यम से जग जाहिर हो गया। आरटीआई के माध्यम से हुए भ्रष्टाचार के इस खुलासे के बाद जिला प्रशासन ने इसे गंभीरता से लेते हुए जांच कमेटी का गठन कर दिया था।

अब इस मामले की जांच और भी तेज हो गयी है। आरटीआई दाखिल करने वाले याचिकाकर्ता ने बुधवार को जांच कमेटी के समक्ष हलफनामा दाखिल कर सारे साक्ष्य पेश कर दिए।

जांच कमेटी के सदस्य एडीएम सिटी अतुल कुमार के समक्ष पेश किए सबूत में आरटीआई से मिले साक्ष्य ही पर्याप्त‍ हैं जिसमें खेल विभाग और यूपीसीए के बीच मैदान की बु‍किंग का मुददा अहम माना जा रहा है।

गौरतलब है कि सात साल से खेल विभाग और उत्तर प्रदेश क्रिकेट संघ के पदाधिकारियों के बीच चल रहे इस रहस्मयी खेल के चलते रिकार्ड दर्ज नही कराया जा सका है।

इस खेल में खेल विभाग और यूपीसीए के कई सदस्यों की मिलीभगत से विभाग को करोडों का चूना लगना तय माना जा रहा है।

गौरतलब है कि यूपीसीए और प्रदेश की अखिलेश सरकार के बीच साल 2015 के अप्रैल महीने में ग्रीनपार्क को लेकर लीज में लेने के लिए अनुबन्ध किया गया था।

जिसमें अन्तर्राष्ट्रीय मैचों के आयोजन से लेकर घरेलू क्रिकेट की श्रृंखलाओं को आयोजित करना था। अब साल 2015 के अक्टूबर महीने में ही दक्षिण अफ्रीका के बीच एक दिवसीय मैच आयोजित किया गया इसके बाद कई टेस्ट और एक टी टवेन्टी मैच के अलावा चार आईपीएल के मैच आयोजित किए गए जोकि बीसीसीआई और यूपीसीए के रिकार्ड में पंजीकृत हैं।

बतातें चलें कि ग्रीनपार्क की बुकिंग यूपीसीए को करने का अधिकार नही है लेकिन वह इसकी रसीद देकर इस मामले में फंसता अवश्य नजर आ रहा है।