Rabindra Nath Bhaiya: जिले में समय पर बर्षा के अभाव में परती पड़ी भूमि पर इस वर्ष समय से एक हफ्ता पहले गेहूं की बुआई शुरू होने के बावजूद गेहूं की बुआई में किसान पिछे हो रहे हैं, जबकि मानक समय मात्र क्षतीन दिन बचा है. धान रोपनी कम हुई थी और खेत परती थी लिहाजा इस साल समय से एक सप्ताह पहले ही गेहूं की बुवाई शुरू हो गई थी। बावजूद बुवाई पिछात होने के कगार पर है। मजदूर के अभाव में धान कटनी में देरी और उर्वरक की किल्लत के चलते किसानी लेट हुई है। इसका असर अब रबी फसल पर पड़ रहा है। 15 दिसंबर तक गेहूं लगाने का आदर्श समय माना जाता है जो अब बीतने को है।
लेकिन जिले में अभी 30 फीसदी गेहूं लगना बाकी है। जिले में लगभग 55 हजार हेक्टेयर में गेहूं लगाने का लक्ष्य है लेकिन फिलहाल करीब 35 हजार हेक्टेयर तक बुआई हो पाई है। यानी अभी जिले में लगभग 70 फीसदी गेहूं लगा है। दरअसल धन कटनी में देरी होने के कारण खेत की नमी गायब हो गई और किसानों को गेहूं लगाने के लिए पटवन करना पड़ा है। पटवन के बाद खेत जोतने के लिए तैयार होने में भी समय लग रहा है लिहाजा गेहूं लगाने में देरी हो रही है।
कृषि वैज्ञानिकों की मानें तो गेहूं या कुछ प्रकार के दलहन लगाने के लिए अभी जिले में मौसम अनुकूल है। अगर और अधिक ठंड गिरता है या बारिश हो जाती है तो फिर गेहूं लगाना मुश्किल हो जाएगा। इसलिए किसान भाई हर हाल में इसी सप्ताह गेहूं लगा लें। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार 20 दिसंबर के बाद बारिश के आसार बन रहे हैं ऐसे में किसानों के लिए गेहूं लगानी मुश्किल हो जाएगी।
रबी सीजन के उत्पादन मेंं 20 फीसदी तक बढ़ोतरी की उम्मीद:-
रबी सीजन में मौसम अनुकूल होने से फसल अच्छी होने की उम्मीद है क्योंकि ठंड में ज्यादा बढ़ोतरी न होने और उतार-चढ़ाव की स्थिति बनी होने से मौसम के जानकार फसल को फर्क न पड़ने के संकेत के साथ ही अच्छी फसल की उम्मीद जता रहे हैं। सोमवार को अधिकतम तापमान 28 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 12 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया था।
तीन साल बाद किसानों के चेहरे पर मुस्कान:-
जिला पूरी तरह से कृषि प्रधान है लिहाजा यहां की अर्थव्यवस्था कृषि पर टिकी है। अकाल के कारण यहां के किसानों को अक्सर खरीफ के सीजन में घाटा होता है। इस बार भी ऐसा ही हुआ और लगभग आधी धान रोपनी ही हो पाई। मौसम अनुकूल होने से रबी फसल में भी फायदे की उम्मीद है। ठंड में उतार-चढ़ाव की स्थिति बनी हुई है।
गेहूं की सही वैरायटी ही लगाएं:-
कृषि मौसम वैज्ञानिक रौशन कुमार ने बताया कि मौसम रबी फसल के अनुकूल है। अभी ज्यादा सर्दी नहीं पड़ रही। अंकुरण के लिए ठीक है। जिले में 2967 गेहूं की वैरायटी लग रही है। यह 20 दिसंबर तक लग सकती है। अभी का जो मौसम है वह बुवाई और अंकुरण के लिहाज से ठीक है लेकिन अंकुरण हो चुके फसल के लिए कठिनाई भरा समय है। जिनकी फसल उठ गई है उनको सावधानी बरतने की जरूरत है।
दरअसल रबी फसल का सीजन शुरू होने के साथ ही जिले में खाद- उर्वरक की किल्लत हो रही है। नवंबर के दूसरे सप्ताह के बाद स्थिति और खराब हो गई तथा बिस्कोमान सहित तमाम खाद काउंटर पर डीएपी खाद खत्म हो गया। किसानों के सहयोग के लिए बनी सहकारी समितियां यानी पैक्सों में भी खाद नहीं था। ऐसे में गेहूं की बुआई प्रभावित हो रही है.