डुमरांवःडी.के.कालेज में एम.ए.सहित अन्य बिषयों की पढ़ाई का मामला विधान सभा में गूंजा

बक्सर

-बजट सत्र के शून्य काल में विधायक ने विधान सभा के सदन में डी.के.कालेज में एम ए की पढ़ाई को उठाई आवाज

बक्सर,बीपी। डुमरांव स्थित डी.के.कालेज में एम.ए.सहित इतिहास, समाज शास्त्र,गृह विज्ञान व उर्दू की पढ़ाई शुरू कराने की मांग को विधायक डा.अजीत कुमार सिंह द्वारा विधान सभा के सदन में उठाई गई। बिहार बजट सत्र के शून्य काल के दौरान विधायक डा. अजीत कुमार सिंह द्वारा डी.के.कालेज में एम ए सहित अन्य बिषयों की पढ़ाई की मांग उठाई गई है। डी.के.कालेज में शैक्षणिक व्यवस्था बेहतर करने के सवाल को विधान सभा में उठाए जाने पर छात्र छात्राओं के बीच हर्ष व्याप्त है।

‘दो बिषयों की पढ़ाई पर तैतीस साल के बाद लगाई गई थी ब्रेक’
विगत 1987 में मगध विश्वविद्यालय के पूर्व कुलसचिव एफ.अहमद के निर्देश पर डी.के.कालेज में इतिहास व उर्दू बिषय की पढ़ाई शुरू की गई थी।पर महज दो साल पहले वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा सरकार से स्वीकृति प्राप्त नहीं होने का हवाला देते हुए दोनों बिषय की पढ़ाई पर रोक लगा दी गई थी। आश्चर्य की बात तो यह है कि विश्वविद्यालय द्वारा डी.के.कालेज में इतिहास व उर्दू बिषय के नाम पर शिक्षक नियुक्त कर रखा है।

विश्वविद्यालय के पूर्व कुलसचिव सह डी.के.कालेज के पूर्व प्राचार्य डा.धीरेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि विश्वविद्यालय के एकेडेमिक काउंसिल द्वारा भी दोनों बिषय की पढ़ाई को लेकर स्वीकृति व सहमति प्रदान की गई थी। पूर्व कुलसचिव सह पूर्व प्राचार्य डा.सिंह ने बताया कि विश्वविद्यालय प्रशासन को पूरे मामले से अवगत करा दिया गया था। यह मामला सरकार के पल्ले में है। डी.के.कालेज के प्राचार्य डा.अरबिंद कुमार सिंह ने बताया कि करीब गत दो साल से इतिहास व उर्दू की पढ़ाई पर तकनिकी कारणों का हवाला देते हुए विवि स्तर से ब्रेक लगाई गई है।