25 दिनों के अंदर दूसरी बार टकराई ट्रेन,लेकिन चेत नहीं रही सरकार! ट्रेनों की सुरक्षा पर सरकार नहीं है ध्यान!

पटना

स्टेट डेस्क/पटना : भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के राज्य सचिव रामनरेश पाण्डेय ने पश्चिम बंगाल के बांकुड़ा जिले में हुई ट्रेन दुर्घटना पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि ओड़िशा के बालासोर में हुई रेल दुर्घटना के 25 दिनों के अंदर उसी तरह की दूसरी दुर्घटना 25 जून को पश्चिम बंगाल में हुई जिसमें दो मालगाड़ी ट्रेन आपस में टकरा गयी। यह बहुत ही गंभीर मामला है। क्योंकि इसने ट्रेनों के सुरक्षित संचालन पर गंभीर सवाल खड़ा कर दिया है। गनीमत है कि दो माल गाड़ी ही टक्कर हुई।

अगर यह यात्री ट्रेन होती तो अनर्थ हो जाता था क्योंकि टक्कर बहुत ही भीषण थी। इस टक्कर में एक मालगाड़ी का इंजन दूसरी पर चढ़ गया है। कई डब्बे पटरी से उतर गये। इस दुर्घटना के कारण कुछ घंटों के लिए ट्रेनों का परिचालन रोक दिया गया और यात्री गाड़ी रद्द कर दी गयी। जिस कारण हजारों लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ा। भाकपा राज्य सचिव ने कहा कि केंद्र सरकार रेल की सुरक्षा पर ध्यान नहीं दे रही है।

सरकार बंदे भारत एक्सप्रेस और बुलेट ट्रेन पर खर्च कर रही है। सुरक्षा पर राशि नहीं खर्च करने के कारण आये दिन ट्रेन दुर्घटना होती रहती है। मोदी सरकार रेलवे को भी निजी हाथों में दे रही है। रेलवे में नयी नियुक्ति नहीं हो रही है। बांकुड़ा के रेल दुर्घटना के बारे में कहा जा रहा है कि ड्राइवर नींद में थे। इसलिए दुर्घटना हो गयी। इससे साबित होता है कि रेलवे में नियुक्त नहीं होने के कारण रेल कर्मियों पर काफी दबाव है। मोदी सरकार ट्रेन दुर्घटना रोकने के लिए बड़े-बड़े दावे कर रही है।

परंतु ट्रेन दुर्घटनाओं को रोकने लिए जिस कवच प्रणाली को प्रभावी माना जा रहा है, वह अभी समूचे रेल नेटवर्क के केवल दो प्रतिशत हिस्से में ही लागू हो सकी है। भाजपा सरकार के नौ वर्षो के कार्यकाल में रेलवे का भठ्ठा बैठ गया है। मोदी सरकार ने रेल का बजट भी समाप्त कर दिया है। इस कारण भी रेलवे के रख – रखाव पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। भाकपा राज्य सचिव ने केंद्र सरकार से रेल दुर्घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाने की मांग की है।