डेस्क/विक्रांत: बिहार का अकेला कृषि विश्वविद्यालय ( बीएयू ) सबौर अपनी 14 वीं स्थापना दिवस मनाए जाने को बेताब है. विवि परिसर सज धज कर तैयार हो चुका है.05 अगस्त को आयोजित स्थापना दिवस समारोह में शिरकत करने को राज्य कृषि सचिव श्री संजय कुमार अग्रवाल मुख्य अतिथि एवं कृषि विभाग के संयुक्त सचिव अनिल कुमार झा भी कार्यक्रम में शिरकत करेंगे।
दोनों माननीय का सचिव एवं संयुक्त सचिव का आगमन बिहार कृषि विश्वविद्यालय परिसर में आज पर्दापण हो चुका है | इसकी जानकारी विवि जन संपर्क पदाधिकारी डा राजेश कुमार ने दी है.
विश्वविद्याल नित्य तय कर रहा है सफलता का सफ़र :
बिहार कृषि विश्वविद्याल सबौर अपनी स्थापना के चौदहवें पड़ाव पर और चंद वर्षों में ही अपनी बेहतर उपलब्धियों के लिए देश भर में जाना जा रहा है | विगत एक वर्ष की उपलब्धि की बात करे तो शिक्षा, शोध और प्रसार के क्षेत्र में विश्वविद्याल ने अच्छी उपलब्धि हासिल की है |
शिक्षा : राज्य सरकार के एकमात्र कृषि विश्वविद्याल बीएयू सबौर में एक बेहतर एकेडमिक माहौल है | छात्रों को इस वर्ष कई सौगात मिले जहाँ एक ओर वर्षो से लंबित शानदार केन्द्रीय लाइब्रेरी छात्रों के लिए खोल दी गयी वहीँ स्टेट ओर आर्ट के तर्ज पर बने पुर्णतः वातानुकूलित व्याख्यान कक्ष और वीडियो कान्फरेंसिंग सुविधा से युक्त स्मार्ट क्लास रूम में पठन-पाठन शुरू हो गया |
बेहतर शैक्षणिक माहौल और शानदार सुविधाओं के शुरू हो जाने का नतीजा रहा कि इस वर्ष के लिए जारी नेट और जेआरेफ़ का परिणाम शनदार नतीजा लेकर आया | आईसीआर और यूजीसी नेट के परीक्षा परिणाम में बीएयू के अधीन महाविद्यालयों से 81 छात्रों ने जेआरएफ और नेट क्वालिफाय किया |
शोध : शोध क्षेत्र में बीएयू के लिए विगत एक वर्ष उपलब्धियों से भरा रहा, बीएयू द्वारा बनाये गए नैनो यूरिया फार्मूलेशन को सरकार द्वारा पेटेंट प्रदान किया गया वहीं कई फसलों की कई किस्में किसानों के लिए अनुसंशित किये गए जिसमें सबौर मोती धान और चारा घास उत्पादन की विभिन्न तकनीकें शामिल है। ड्रोन के माध्यम से विश्वविद्यालय क्षेत्राधिकार के 12 जिलों में रबी-गरमा मौसम की खड़ी फसलों के 3000 एकड़ क्षेत्रफल में दवाओं का छिड़काव • Artificial Intelligence से लैश फसलों में लगने वाली कीट एवं बीमारी पहचान एवं समाधान हेतु e-NIROG App विकसित किया गया।
प्रसार : विश्वविद्यालय का कृषि प्रसार निदेशालय किसानों तक निर्वाध रूप से कृषि प्रसार कर रही है । विगत एक वर्ष में राज्य के किसानों तक विश्वविद्यालय के शोध एवं योजनाओं को निदेशालय अपने कृषि विज्ञान केंद्रों के माध्यम से किसानों तक पहुँचा रही है। इस वर्ष जलवायु अनुकूल कृषि कार्यक्रम एवं नीक्रा योजना अन्तर्गत 26 योग्य अभ्यर्थियों का नियोजन किया गया।
“पोषक अनाजों के माध्यम से आजीविका और पोषण सुरक्षा में सुधार के लिये प्रौद्योगिकियाँ” विषय पर केन्द्रित पूर्वी भारत के लिये क्षेत्रीय किसान मेला-2023 (23-25 फरवरी, 2023 ) में लगभग 25,000 किसानों / महिला किसानों / प्रसार कार्यकर्त्ताओं सहित अन्य आमजनों की सहभागिता के साथ मेला का सफल आयोजन किया गया।
Inter national Year of Millets-2023 के आलोक में कृषि विज्ञान केन्द्रों के माध्यम से मोटे अनाज का उत्पादन, प्रसंस्करण, भंडारण, विपणन आदि पर 131 प्रशिक्षण शिविर के माध्यम से 11300 से अधिक किसानों / प्रसार कर्मियों / कृषि उद्यमियों का क्षमता वर्द्धन किया गया . जलवायु अनुकूल कृषि कार्यक्रम की गतिविधियों में पोषण सुरक्षा का समावेशन तथा कुल 450 एकड़ क्षेत्रफल में मोटे अनाज की फसलों का प्रत्यक्षण किया गय