Biharsharif/Avinash pandey: अंतरिक्ष विज्ञान के इतिहास में, भारत ने 23 अगस्त, 2023 को चंद्रयान-3 को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक उतारकर इतिहास में अपना नाम दर्ज करा लिया है! यह समस्त भारतवासियों के लिए एक उल्लेखनीय, ऐतिहासिक और अभूतपूर्व उपलब्धि है!
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दूरदर्शी नेतृत्व में इसरो ने भारत को वैश्विक अंतरिक्ष अन्वेषण में सबसे आगे खड़ा कर दिया है। नालंदा में EIL, भारत सरकार का उपक्रम, के स्वतंत्र निदेशक और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के जिलाअध्यक्ष ई. रविशंकर प्रसाद सिंह ने इस अभूतपूर्व और गौरवशाली अवसर पर सभी देशवासियों को हार्दिक बधाई दी।
उन्होंने कहा, वह इस सपने को साकार करने में भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा प्रदर्शित अटूट समर्पण और उत्कृष्टता की निरंतर खोज की सराहना करते हैं। ई. रविशंकर ने बताया, “चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर भारत के ‘चंद्रयान-3 ‘ की सफल लैंडिंग हमारी वैज्ञानिक कौशल और हमारे राष्ट्र की अदम्य भावना का प्रमाण है।
यह ऐतिहासिक उपलब्धि आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करेगी, और हमारे युवाओं के अनगिनत सपनों और आकांक्षाओं को प्रज्वलित करेगी! यह ‘मेक इन इंडिया’ की भावना का एक जीवंत उदाहरण है और दुनिया की सबसे चुनौतीपूर्ण मिशनों को पूरा करने की हमारी क्षमता को प्रदर्शित करती है!” उन्होंने विपक्ष को आड़े हाथों लेते हुए निशाना साधा।
उन्होंने बताया, जब भारत और सम्पूर्ण विश्व इस महान उपलब्धि पर जश्न मना रहा था तब हमारे मुख्यमंत्री जी को इसकी भनक भी नहीं थी और राजद के नेता तो इनसे भी दो कदम आगे थे, उन्होंने तो नासा को इस उपलब्धि की बधाई दे डाली। चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग, इसरो वैज्ञानिकों और इंजीनियरों के अथक प्रयासों का प्रमाण है।
जिन्होंने इस ऐतिहासिक क्षण को संभव बनाने के लिए कड़ी मेहनत की है। ई. रविशंकर ने मानव ज्ञान और अंतरिक्ष अन्वेषण की सीमाओं को आगे बढ़ाने के लिए उनकी अटूट प्रतिबद्धता के लिए इसरो से जुड़े प्रत्येक व्यक्ति के प्रति अपना आभार व्यक्त किया।
जैसा कि पूरा भारतवर्ष इस अविस्मरणीय उपलब्धि का जश्न मना रहा है, पूरा देश इस मिशन द्वारा खोले जाने वाले नए क्षितिजों और संभावनाओं की प्रतीक्षा कर रहा है। यह प्रत्येक भारतीय के लिए गर्व करने का क्षण है और यह याद दिलाता है कि जब हम एक साथ काम करते हैं तो हम अविश्वसनीय ऊंचाइयों तक पहुंच सकते हैं।