डेस्क। पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने खुले शब्दों में कहा है कि बिहार के बच्चों के साथ हो रहे अन्याय को लेकर विधानसभा में सवाल उठाएंगे। मांझी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि मुख्यमंत्री को शर्म आनी चाहिए। क्योंकि बिहार के लड़के बेरोजगार बैठे हैं और 50% से ज्यादा यूपी के लड़के बिहार में नौकरी पा रहे हैं।
जीतनराम ने बिहार के युवाओं से इस मामले को लेकर नीतीश सरकार के खिलाफ हल्ला बोलने की अपील की है। जीतनराम ने कहा कि अगर हमारे द्वारा प्रस्तुत दस्तावेज गलत है, तो मैं सार्वजनिक माफी मांगूंगा नहीं तो मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जांच कर शीघ्र नियुक्ति पत्र वितरण का कार्यक्रम रद्द करें।
पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने शिक्षक बहाली में हो रही त्रुटियों को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर जमकर हमला बोलते हुए कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 02 नवंबर को जो नियुक्ति पत्र बांटने जा रहे हैं उसमें लगातार त्रुटियां उजागर हो रही है। बावजूद इसके नीतीश कुमार नियुक्ति पत्र बाट रहे है।
मांझी ने कहा कि मैंने सभी त्रुटियों को लेकर मुख्यमंत्री समेत बीपीएससी के अध्यक्ष अतुल कुमार को 50 पन्नों का पत्र लिखा है। लेकिन अभी तक कोई भी जवाब नहीं आया है। मांझी ने गया जिले के फतेहपुर का उदाहरण प्रस्तुत करते हुए कहा कि वहां हमने एविडेंस के साथ मुख्यमंत्री को बताया था कि फतेहपुर मे हुए नियुक्ति में 80 प्रतिशत उत्तर प्रदेश के लोगो को नियुक्ति मिली है।
मांझी ने तंज कस्ते हुए कहा कि ऐसा लगता है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार उत्तर प्रदेश के फूलपुर से चुनाव लड़ने वाले हैं और ऐसे में उत्तर प्रदेश के वोटरों को रिझाने के लिए उत्तर प्रदेश के लोगों को बिहार में नौकरियां दी जा रही है ।