सासाराम : सावित्री वट वृक्ष पूजा को सुहागिनों की उमड़ी भीड़

सासाराम

सासाराम/अरविंद कुमार सिंह : जिले में सावित्री बट वृक्ष पूजा को लेकर के महिला में पूरी आस्था दिखी और सभी गांव में सावित्री वट वृक्ष पूजा की गई ।नगर परिषद एवं प्रखंड में बट सावित्री पूजा के लिए मंदिरों में भीड़ देखी गई। इस मौके पर महावीर स्थान, काली मंदिर पर महिलाओं ने वटवृक्ष की पूजा अर्चना कर पति के दिर्घायु की कामना की।

महिला टुसी सिह ने बताया कि पति की आयु को बढ़ाने के लिए पूजा अर्चना की जाती है। कच्चे सूत को लपटते हुए 12 बार परिक्रमा की गई। हर परिक्रमा पर एक भीगा हुआ चना चढ़ाई गई। परिक्रमा पूरी होने के बाद सत्यवान व सावित्री की कथा सुनी गई। 12 कच्चे धागे वाली एक माला वृक्ष पर चढ़ाया गया अब 6 बार माला को वृक्ष से बदला गया और अंत में एक माला वृक्ष को चढ़ा कर एक अपने गले में पहन ली गई ।

पूजा खत्म होने के बाद घर आकर पति को बांस का पंख झलाई जाती है और उन्हें पानी पिलाई। इस मौके पर रीता गुप्ता, उर्मिला रेणु गुप्ता, अंजलि ,दीपिका देवी सहित कई महिलाओं ने वटवृक्ष में धागा लपेट ते हुए फेरी लिए ।शुक्रवार की सुबह से ही हजारों की संख्या में महिलाएं वट वृक्ष की पूजा करने के लिए पहुंची। सुहागिन महिलाएं अखंड सौभाग्यवती होने एवं पति के लंबी आयु के लिए वट वृक्ष की पूजा करती है। इसके लिए महिलाएं सुबह से उपवाश रहकर कर वट वृक्ष में फेरी लगा कर धागा बंधी। साथ ही वृक्ष के आयु की तरह अपने पति की लम्बी उम्र की कामना करती है।

बताया जाता है पतिव्रता सती सावित्री ने अपने पति की प्राण हरने आये यमराज से जिद्द कर वट वृक्ष के निचे ही अपने पति के प्राण वापस लौटा ली थी।उसी पौराणिक कथाओं पर आज भी महिलाए व्रत कर वट वृक्ष की पूजा करती है और अपने पति के सुहाग को अमर रखने की कामना करती ही। इस क्रम में वटवृक्ष के पास मेला सा दृश्य बना रहा। महिलाओं में पूजा को ले जबरदस्त उत्साह देखा गया।