सेंट्रल डेस्क। वर्ष 2022 मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के लिए बहुत खास है क्योंकी इसकी स्थापना के 20 वर्ष पूरे होने वाले हैं। इसके मद्देनार हैदराबाद में रविवार को मुस्लिम राष्ट्रीय मंच की बहुत अहम बैठक हुई जिसमें मुख्य संरक्षक इंद्रेश कुमार के नेतृत्व में कई बड़े और अहम फैसले लिए गए। बैठक में देश भर से एमआरएम के सभी राष्ट्रीय संयोजक, सभी प्रकोष्ठों के राष्ट्रीय संयोजक एवं सह संयोजक, सभी छेत्रीय संयोजक एवं सभी प्रदेशों के संयोजकों समेत बड़ी तादाद में कार्यकर्ता ऑनलाइन शामिल हुए।
बैठक की अध्यक्षता करते हुए इंद्रेश कुमार ने कहा कि
मंच ने पिछले 20 वर्षों में देश में अपनी एक खास और अनोखी पहचान बनाई है जो समाज को जोड़ने का संदेश देता है, वतन परस्ती, सद्भावना, भाईचारे, मेल मिलाप, तरक्की और तहजीब का संदेश देता है। संघ नेता ने कहा कि मुस्लिम राष्ट्रीय मंच अपनी इसी रिवायत को बरकरार रखते हुए 2 अप्रैल से शुरू होने वाले रमजान और ईद को सद्भावना महीने के तौर पर मनाने जा रहा है।
इंद्रेश कुमार ने कहा कि इसका मकसद होगा देश की एकता, अखंडता, सद्भावना और भाईचारे को और मजबूत करना। इसके तहत मंच का प्रत्येक कार्यकर्ता अपने अपने स्तर पर कम से कम एक दिन इफ्तार का भव्य कार्यक्रम रखेगा जिसमें समाज के हर धर्म, हर समुदाय, हर वर्ग के लोगों को इफ्तार पर दावत देगा।उन्होंने बताया कि इफ्तार के समय सभी के हाथों में तिरंगा होगा जो यह संदेश देगा कि जिस प्रकार मुसलमानों के नबी हजरत मुहम्मद साहब ने जो वतन से ईमान, हुब्बुल वतनी और मुहब्बत का संदेश दिया था उस पर देश का हर मुस्लिम मुकम्मल ईमान रखता है। रोजे इफ्तार की तरह ही ईद मिलन समारोह होगा जो देश भर में शांति और सद्भावना का संदेश देगा। इफ्तार और ईद मिलन समारोह कार्यक्रमों का मकसद है समाज के सभी तबके, समुदाय को जोड़ा जाना ताकि देश भर के लाखों लोगों तक इस पाक महीने में मुहब्बत और हुब्बुल वतनी (वतन परस्ती) का पैगाम पहुंचे।
मुख्य संरक्षक इंद्रेश कुमार ने मंच के सभी प्रकोष्ठों के संयोजक, सह संयोजक एवं प्रभारियों के साथ बैठक में संदेश दिया कि मंच का काम विपरीत परस्तिथियों में भी संयम बरतते हुए सभी धर्मों, समुदायों, वर्गों और जातियों को साथ लेकर चलने का है.. और अपने इस धर्म पर मंच बिना किसी भेद भाव के सहज भाव से चलता रहेगा। संघ नेता ने अपने संबोधन में कश्मीर फाइल्स को हकीकत की फाइल्स बताया साथ ही सभी धर्मों के लोगों एवं बुद्धिजीवियों तथा राजनेताओं से आगे आकर इन घटनाओं की घोर निन्दा करने की अपील की। साथ ही लाखों की तादाद में बेघर हुए कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास में सहयोग करने की अपील की।इंद्रेश कुमार ने बांग्लादेश और पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के ऊपर होने वाले जुल्म, उनके इबादतगाहों को नुकसान पहुंचाने वालों के ऊपर त्वरित कार्रवाई की मांग करते हुए ये संदेश दिया कि भारत की तरह सभी धर्मों, जातियों, वर्गों को लेकर चलने वाला समावेशी देश बनें।
संघ नेता ने रूस और यूक्रेन के बीच चल रही युद्ध की आलोचना करते हुए कहा कि जंग किसी समस्या का हल नहीं है। उन्होंने कहा कि जंग चाहे अमेरिका थोपे या चीन या रूस… इसका समर्थन नहीं किया जा सकता है क्योंकि यह बरबादी का रास्ता है। इस मौके पर मंच के अध्यक्ष मोहम्मद अफजाल और राष्ट्रीय संयोजक शाहिद अख्तर ने कहा कि यह बड़े हर्ष की बात है कि एमआरएम के बीस साल और देश की आजादी का अमृत महोत्सव एक साथ ही है। मंच धूमधाम से देश भर में इसे उत्सव की तरह मनाएगा। बौद्धिक प्रकोष्ठ हिंदुस्तान फर्स्ट हिंदुस्तानी बेस्ट के राष्ट्रीय संयोजक बिलाल उर रहमान ने कहा कि मंच ने देश में हमेशा एकता, सम्मान और सब को साथ ले कर चलने की अलख जगाई है और इसी मिशन पर पूरी मजबूती के साथ काम करता रहेगा।
राष्ट्रीय संयोजक विराग पचपोर ने कहा कि दुनिया के विभिन्न भागों में हो रही उठा पटक, नफरतों, युद्ध, क्रूरता, तोड़फोड़, द्वेष, अपराध, माओवाद के खिलाफ मुस्लिम राष्ट्रीय मंच देश से विदेश तक मुहब्बत और अमन का पैगाम फैलाती रहेगी। उन्होंने कहा कि संस्था देश और समाज को तोड़ने वाली शक्तियों और विचारधारा को कुचलने में अहम योगदान देगी। राष्ट्रीय संयोजक माजिद तालिकोटि ने कहा कि चाहे कुछ भी हो देश की फिजा नहीं बिगड़ने दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि जुल्म करने वाले, छुआ छूत मानने वालों, महिलाओं या बेकसूरों पर अत्याचार नहीं होने दिया जाएगा। महिला प्रकोष्ठ की राष्ट्रीय संयोजिका शालिनी अली, शहनाज अफ़ज़ल और रेशमा हुसैन ने कहा कि भारत, भारतीय, भारतीयता के मिशन को फैलाते हुए देश के विकास में चौतरफा योगदान मुस्लिम राष्ट्रीय मंच और मंच के कार्यकर्ता देते रहेंगे।