मेहसी/बीपी प्रतिनिधि। प्रखंड मुख्यालय पर महागठबंधन के घटक दलों ने केंद्र सरकार के जन विरोधी नीतियों के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया। बताया कि जातिगत जनगणना , महंगाई, बेरोजगारी, संवैधानिक संस्थाओं के दुरुपयोग, लोकतंत्र पर बढ़ते हमले, दलित गरीबों की आवास, खाद एवं अन्य योजनाओं में कटौती, किसानों की आय दोगुनी करने, एम एस पी का विस्तार सभी फसलों तक करने और उन्माद की राजनीति पर रोक लगाने जैसे ज्वलंत मुद्दों को लेकर महागठबंधन ने मेहसी प्रखंड मुख्यालय पर एक दिवसीय धरना दिया है। धरना कार्यक्रम की अध्यक्षता राजद प्रखंड अध्यक्ष शत्रुघन यादव, संचालन सीपीआई के पूर्व प्रत्याशी लोकसभा रामचंद्र प्रसाद कुशवाहा ने किया।
महागठबंधन के सभी वक्ताओं ने मोदी शासन के 9 साल जनता की चरम तबाही ,बर्बादी, लूट , दमन और नफरत का साबित हुआ है। रसोई गैस की कीमत 1200 प्रति सिलेंडर पार कर गई है। पेट्रोल डीजल की महंगाई चरम सीमा पर है। नोटबंदी और जीएसटी की मार से छोटे मझोले व्यवसाई अभी तक उबर भी नहीं पाए थे कि इधर ₹2000 का नोट बंद कर काला धन पर हमले का एक बार फिर भ्रम पैदा किया जा रहा है। कॉर्पोरेट ने देश की 60% संपत्ति पर कब्जा जमा रखा है भाजपा द्वारा दलितों पिछड़ों के आरक्षण में कटौती की साजिश अनवरत जारी है।
सरकारी योजना में सभी समुदाय के लिए न्याय संगत व समावेशी विकास के लिए महागठबंधन ने केंद्र सरकार से जाति आधारित सर्वे की मांग की थी जिसे उसने नकार दिया है। किसानों की आय दोगुनी करने का वादा किया था लेकिन मोदी सरकार किसानों की जमीन से बेदखल कर पूंजीपतियों के हाथों में जमीन देकर कानून लेकर आई। जिस समय नरेंद्र मोदी संसद के नए भवन का उद्घाटन कर रहे थे ठीक उसी समय उसी दिल्ली में यौन उत्पीड़न में शामिल बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी की मांग कर रही महिला पहलवानों को सड़कों पर घसीटा गया उनके आंदोलन स्थल को तोड़ दिया गया।
इस मौके पर जदयू के प्रखंड अध्यक्ष अवधेश कुमार पटेल, कांग्रेस के प्रखंड अध्यक्ष भारत भूषण कुशवाहा, सीपीआईएम के मुकेश यादव, जदयू के राजेश कुमार गिरी, राजद के वरीय नेता नेरुल होदा, सुरेश यादव, निशांत कुमार, मनोज सर्राफ, नासिर हुसैन, रईस नूरी, परमानंद पटेल, सुमन कुमार यादव, मदरेश सहनी, सहाबुद्दीन अंसारी, रिजवान अहमद नन्हे सहित बड़ी संख्या में महागठबंधन के नेता मौजूद थे।