कानपुर/बीपी प्रतिनिधि। केन्द्रीय गृह मन्त्री अमित शाह के सामान नागरिक संहिता कानून पर दिए गए बयान के बाद अब बहस और तेज हो गई है। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड प्रदेश के साथ ही देश में भी सामान नागरिक संहिता कानून लागू करवाए जाने के खिलाफ है।
लॉ बोर्ड के सदस्यों का कहना है कि यदि ऐसा होता है तो वह कानून का सहारा लेंगे क्योंकि यह देश के संविधान के खिलाफ है। यह बात मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के सदस्य मो सुलेमान ने कही। उन्होंने आगे कहा, यह सब भाजपा के मुद्दे है, क्योंकि वो देश के नागरिकों का ध्यान वास्तविक मुद्दों से भटकाने में लगी है। अगर देश के गृह मंत्री ऐसा कोई भी कदम उठाते है तो वह देश के मुसलमानों के खिलाफ होगा और इसपर कोई भी मुसलमान उनका साथ नहीं देगा।
हम लोगों ने भाजपा के राज में जो महंगाई देखी है वो पिछले 70 सालों में कभी नहीं देखी, भाजपा यही सब मुद्दे उठाकर लोगों को बरगलाने की कोशिश में जुटी है। गौरतलब है कि केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने 23 अप्रैल को भोपाल में कहा था कि भाजपा शासित राज्यों में सामान नागरिक संहिता कानून लाएंगे। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में चुनाव से ठीक पहले हमने समान नागरिक संहिता कानून लाने का ऐलान किया था।
अब विधानसभा से उसे पारित करके कानून बना दिया जाएगा। धीरे-धीरे अन्य भाजपा राज्यों में भी यही कानून लागू किए जाने इस पर मंथन चल रहा है। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के सदस्य मो सुलेमान ने लाउडस्पीकर से होने वाले शोर को लेकर कहा कि वह सुप्रीम कोर्ट के आदेश को मानते है।
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अजान, तरावीह, गुरुद्वारों और हनुमान चालीसा जैसे पाठ की आवाज मानक से अधिक नहीं होनी चाहिए लेकिन लाउडस्पीकर को लेकर यह सब भाजपा के मुद्दे के तहत नहीं किया जाना चाहिए। 2017 में यूपी में भाजपा की सरकार बनी थी, उससे पहले तक क्या किसी को लाउडस्पीकर से दिक्कत हुई? नहीं हुई, यह सब भाजपा के फैलाए हुए मुद्दें है ताकि लोगों का ध्यान महंगाई और देश में चल रही अन्य बातों पर न जाए।