कानपुर, बीपी डेस्क। शहर के 491 मंदिरों को नगर निगम संवारेगा। भक्तों को आने-जाने में आए दिन होने वाली समस्याओं को दूर करने के लिए सर्वे कराया गया था। इसमें मंदिरों के आस-पास मिली समस्याओं को दूर करने की रिपोर्ट तैयार की गई। नगर आयुक्त शिवशरणप्पा जीएन ने सभी जोनल अधिकारियों को व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने के लिए कहा है। नगर आयुक्त ने सभी जोनल अधिकारियों को कहा है कि किसी भी मंदिर तक पहुंचने वाले रास्तों को ठीक किया जाएं।

ये सुनिश्चित किया जाए कि जलभराव और सीवरभराव न हो। रास्तों में लाइटिंग हो, कहीं भी कूड़ा न फैला हो। अभी तक मंदिरों को प्रमुख त्योहारों पर नगर निगम सभी व्यवस्थाएं दुरुस्त करता था। मगर, अब ये हर दिन किया जाएगा। बता दें कि मंदिरों में रोजाना लाखों भक्त पहुंचते हैं, ऐसे में सीवर और जलभराव के बीच से गुजरना कष्टदायी होता है।
मंदिरों और आस-पास व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने के लिए नगर निगम दो करोड़ रुपए से ज्यादा का बजट खर्च करता है। प्रमुख त्योहारों के आयोजनों में ये सालाना बढ़कर करीब 10 करोड़ रुपए से ज्यादा तक पहुंच जाता है। महापौर प्रमिला पांडेय ने बताया कि मंदिर और मस्जिद आने-जाने वालों को दिक्कत न हो, इसके लिए नगर निगम विकास कार्य कराता है।
शहर के प्रमुख मंदिर परमट मंदिर, पनकी धाम, सिद्धनाथ मंदिर, वेंकेटेश्वर बालाजी मंदिर, काली माता मंदिर, हंस मंदिर, काली मठिया, बारादेवी, तपेश्वरी देवी, जंगली देवी मंदिर, बनखंडेश्वर मंदिर, दक्षिणेश्वर मंदिर, शनिदेव मंदिर, जागेश्वर मंदिर, रामलला मंदिर सहित अन्य प्रमुख मंदिर हैं।
मंदिरो के आस पास इंटरलॉकिंग और रोड बनाई जाएगी, नाला-नालियों की नियमित सफाई होगी, मंदिरों के आसपास किटनाशक का छिड़काव होगा, कूड़े के लिए पर्याप्त डस्टबिन लगाए जाएंगे, पीने के लिए साफ पानी का प्रबंध होगा, सीवर और जलभराव नहीं होना चाहिए और पार्किंग की व्यवस्था भी सही की जाएगी।