DESK : उमेश पाल मर्डर केस में अतीक अहमद के वकील रहे सौलत हनीफ की मुश्किलें बढ़ने वाली हैं. सौलत को पुलिस कस्टडी में लेने की तैयारी कर रही है क्योंकि मामले की जांच करते समय पुलिस को इस बात के सबूत हाथ लगे हैं कि उसके फोन से असद को उमेश पाल के फोटो भेजे गए थे. शौलत, हनीफ हत्याकांड में दोषी पाए जाने के बाद प्रयागराज की नैनी जेल में उम्रकैद की सजा काट रहा है. उसको उमेश पाल अपहरण मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है. अब प्रयागराज के धूमनगंज थाने की पुलिस शौलत को उमेश पाल हत्याकांड में अपराधियों की हत्या की साजिश रचने और शूटरों की मदद करने को लेकर आरोपी बनाया है.
सूत्रों के मुताबिक पुलिस के कसते शिकंजे के बीच अशरफ अहमद का साला सद्दाम दुबई भाग गया है. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक वह पश्चिम बंगाल के किसी एयरपोर्ट से दुबई गया है और वह 25 हजार रुपये का इनामी बदमाश है. सद्दाम बरेली जेल में अशरफ से मुलाकात करवाता रहता था और अतीक की हत्या के बाद वह देश छोड़कर भाग गया.
माफिया अतीक अहमद के कार्यालय पर सोमवार को जांच के लिए गई पुलिस को खून से सना चाकू और दीवारों पर खून के धब्बे मिले थे. पुलिस उपायुक्त नगर दीपक भूकर ने पत्रकारों को बताया कि अतीक के कार्यालय में खून से सना चाकू और खून से सने कपड़े मिले हैं. उन्होंने बताया कि फॉरेंसिक टीम ने खून के नमूनों को एकत्र कर लिया है जिसका विश्लेषण किया जाएगा, उसके बाद ही पता चल सकेगा कि यह किसका खून है.
यूपी के सियासी हलको में इस बात को लेकर चर्चा तेज है कि क्या संसदीय परंपराओं के अनुरूप राज्य में किसी पूर्व लोक प्रतिनिधि की मृत्यु पर सदन में उसको श्रद्धांजलि दी जाती है तो ऐसे में सवाल उठ रहा है कि क्या तीन बार के विधायक-सांंसद अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ (पूर्व विधायक) को क्या विधानसभा में श्रद्धांजलि दी जाएगी. नियमों के मुताबिक यह फैसले विधानसभा अध्यक्ष ही ले सकते हैं.